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भारत एक तेजी से उभरने वाली अर्थव्यवस्था हैं, जिसमें 100 करोड़ से भी ज्यादा लोग शामिल हैं और जिन्हें ऊर्जा की बड़ी मात्रा में आवश्यकता हैं. जिसकी पूर्ति भारत सरकार द्वारा विभिन्न नविनीकरणीय और अनविनीकरणीय संसाधनों का उपयोग करके की जा रही हैं. हमारा देश बिजली को उत्पन्न करने एवं उसकी खपत करने में विश्व में पांचवे स्थान पर हैं. हमारे देश में बिजली का उत्पादन हर साल बढ़ रहा हैं, पर हम इस बात से भी इंकार नहीं कर सकते कि जनसंख्या भी साथ में बढ़ रही हैं.
अगर सौर ऊर्जा का उपयोग प्रारंभ होता हैं, तो वहाँ घरेलू कामों में कंडों एवं लकड़ियों का प्रयोग होने में भी कमी आएगी. जिससे वायु प्रदूषण भी नहीं होगा.
बैंक भी सोलर पैनल के लिए आसान किश्तों में लोन मुहैया करा रहे हैं. आप भी इस योजना से जुड़कर अच्छी आमदनी भी कर सकते हैं.
• सौर ऊर्जा वातावरण के लिए भी लाभकारी हैं. जब इसे उपयोग किया जाता है, तो यह वातावरण में कार्बन – डाई – ऑक्साइड और अन्य हानिकारक गैस नहीं छोड़ती, तो वातावरण प्रदूषित नहीं होता.
• सौर ऊर्जा अनेक उद्देश्यों हेतु प्रयोग की जाती हैं , जैसे -: उष्णता के लिए, सुखाने के लिए, भोजन पकाने में और बिजली के रूप में, आदि. सौर ऊर्जा का उपयोग कार में, हवाई जहाज में, बड़ी नावों में, उपग्रहों में, केल्कुलेटर में और अन्य उपकरणों में भी इसका प्रयोग किया जाना उपयुक्त हैं.
सौर ऊर्जा (सोलर एनर्जी) के महत्व
देश में बिजली का 53% उत्पादन कोयले से किया जाता हैं और ऐसा अनुमान लगाया जाता हैं कि वर्ष 2040 – 2050 तक ये भी समाप्त हो जाएगा. भारत की 72% से अधिक जनता गाँवों में निवास करती हैं और इसमें से आधे गाँव बिना बिजली के ही अपना जीवन यापन कर रहे हैं. अब भारत ऐसी स्थिति में आ गया हैं कि अब हम ऊर्जा के अधिकाधिक उत्पादन के लिए, ऊर्जा के संरक्षण के क्षेत्र में, उसके नविनीकरण एवं बचाव के लिए कदम उठाए. इस मांग को पूर्ण करने हेतु सौर ऊर्जा का उपयोग सर्वोत्तम उपाय हैं, जिससे हम ऊर्जा की मांग एवं पूर्ति के बीच सामंजस्य स्थापित कर सकते हैं.
छत पर लगाएं सोलर पैनल
सोलर पैनल लगाने के लिए अलग से जगह की जरूरत नहीं है. आप घर की छत पर सोलर प्लांट लगाकर बिजली बना सकते हैं. इसके लिए आप बिजली कंपनियों से टाइअप करके बिजली बेच सकते हैं.
• बिजली का बिल कम किया
• बढ़ती ऊर्जा लागत के खिलाफ बीमा
• सस्ता बिजली स्रोत
• निवेश पर प्रतिफल
• पर्यावरण के अनुकूल
• ऊर्जा स्वतंत्रता
यदि आपको सौर पैनल मिलते हैं, तो इसका मतलब है कि आपके पास ऊर्जा का अपना स्रोत बनाने का मौका है। आपको पारंपरिक बिजली प्रदाताओं पर निर्भर होने की आवश्यकता नहीं है।
सौर ऊर्जा क्या होता है ?
बता दें कि Solar Energy सूर्य से निकलने वाली ऊष्मा है, जिसे एक तकनीक के माध्यम से विद्युत ऊर्जा में बदला जाता है। इसके लिए आज के समय में Photovoltaic Panel, Solar Heater, Silicon आदि जैसे कई तकनीकों का इस्तेमाल किया जाता है। यह ऊर्जा का एक ऐसा स्त्रोत है, जो कभी खत्म नहीं हो सकता है और भारत में इस क्षेत्र में संभावनाओं की कोई भी कमी नहीं है।
सोलर पैनल एक ऐसा उपकरण है, जो सूर्य की रोशनी को विद्युत ऊर्जा में बदल देता है। बता दें कि यह एक फोटोवोल्टिक मॉड्यूल होता है और आज के समय में पूरी दुनिया में सबसे ज्यादा सोलर पैनल सिलिकॉन से बनते हैं।
बता दें कि यदि आप अपने घर में सोलर पैनल लगाना चाहते हैं, तो इसका चयन आप अपनी जरूरत के हिसाब से करते हैं।
पॉलीक्रिस्टलाइन (Polycrystalline Solar Panel) पुरानी तकनीक से बना हुआ है जो कुछ परिस्थितियों में सही ढंग से काम नहीं कर पाता है जैसे- बारिश के मौसम में और बादल होने पर|
जबकि दूसरे मोनोक्रिस्टलाइन सोलर पैनल (Monocrystalline Solar Panel) आधुनिक तकनीक पर बने हुए हैं और यह सामान्य सोलर पैनल की तुलना में ज्यादा सही तरीके से काम करते हैं| यह पैनल बारिश के मौसम और बादल होने पर भी बिजली उत्पन्न करते हैं|
घरेलू सोलर योजना – Solar Subsidy Scheme
आज के समय में पूरे देश में बिजली की किल्लत (Power Crisis in India) की समस्या काफी बढ़ गई है। यही कारण है कि आज लोगों ने बड़े पैमाने पर Solar System को अपनाना शुरू कर दिया है। सरकार द्वारा भी लोगों को Solar Energy के प्रति प्रोत्साहित करने के लिए कई Rooftop Solar Scheme को शुरू किया गया है, जहाँ आपको 3 किलोवाट के सोलर सिस्टम के लिए आपको करीब 52000 हजार रुपये, 5 किलोवाट के सिस्टम के लिए करीब 80हजार रुपये और 10 किलोवाट के सिस्टम के लिए करीब 1.5 लाख रुपये सब्सिडी के रूप में मिलते हैं। इसके अलावा, आप यहाँ कई प्रकार की Loan Facility का भी लाभ उठा सकते हैं। इस प्रकार, अपने यहाँ सोलर सिस्टम लगाने से आप खुद को बिजली के मामले में पूरी तरह से आत्मनिर्भर बना सकते हैं और हर महीने हजारों के बिजली बिल को बचा सकते हैं।
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