SC ने उत्तराखंड सरकार से मांगा जवाब, रिपोर्ट जमा करने के लिए दिया दो हफ्ते का समय
News Uttaranchal : सुप्रीम कोर्ट ने अंकिता हत्याकांड की स्टेटस रिपोर्ट दो सप्ताह में पेश करने के उत्तराखंड सरकार काे आदेश दिए हैं। अंकिता के माता-पिता व एक ग्रामीण ने हत्याकांड की सीबीआई जांच की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की थी जिसे सुप्रीम कोर्ट ने स्वीकार कर लिया। सोमवार को सुप्रीम कोर्ट की डबल बेंच में प्रकरण की पहली सुनवाई जिसमें सुप्रीम कोर्ट ने उत्तराखंड सरकार से प्रकरण की रिपोर्ट तलब की। बता दें कि परिजनों की ओर से दायर सीबीआई जांच की जनहित याचिका हाईकोर्ट नैनीताल में बीते दिसंबर माह में खारिज हो गई थी।
जनपद पौड़ी के श्रीकोट निवासी अंकिता भंडारी की हत्या की सीबीआई जांच की मांग को लेकर परिजनों व एक ग्रामीण ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। ग्रामीण आशुतोष नेगी ने बताया कि अक्तूबर 2022 में प्रकरण की जांच सीबीआई से कराने को लेकर हाईकोर्ट नैनीताल में याचिका दायर की गई थी जिसे दिसंबर 2022 में अदालत ने खारिज कर दिया था। इसके बाद अंकिता की मां सोनी भंडारी, पिता वीरेंद्र भंडारी व मैंने सुप्रीम कोर्ट में बीते माह याचिका दाखिल की थी जिसे सुप्रीम कोर्ट ने स्वीकार कर लिया। सोमवार को सुप्रीम कोर्ट की डबल बेंच में प्रकरण की पहली सुनवाई जिसमें याचिकाकर्ताओं ने कहा कि वीआईपी का नाम घटना के छह माह बाद भी सार्वजनिक नहीं किया गया है।
विधायक यमकेश्वर की पूरे घटनाक्रम में भूमिका संदिग्ध थी लेकिन जांच तो दूर इसको लेकर कोई कार्रवाई तक नहीं की गई है। फास्ट ट्रैक कोर्ट में मामले की सुनवाई को लेकर भी अभी तक कोई सकारात्मक कदम सरकार ने नहीं उठाए हैं। वहीं सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता कोलिन गोंजालविस ने बताया कि न्यायमूर्ति बीवी नागरत्ना व केएम जोसेफ की बेंच ने अंकिता हत्याकांड को गंभीर घटना बताते हुए उत्तराखंड सरकार से स्टेटस रिपोर्ट तलब की है। कहा कि अदालत ने प्रदेश सरकार को दो सप्ताह में स्टेटस रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया है।